US President Donald Trump’s tariff threat again shakes global markets, US stocks fall sharply
US President Donald Trump’s tariff threat again shakes global markets, US stocks fall sharply
अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प की टैरिफ धमकी से फिर हिला ग्लोबल बाजार, अमेरिकी स्टॉक्स में भारी गिरावट
अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प द्वारा यूरोपीय संघ पर भारी टैरिफ लगाने की धमकी ने शुक्रवार को वैश्विक शेयर बाजारों को झटका दे दिया। ट्रम्प ने घोषणा की कि यदि यूरोपीय संघ के साथ व्यापार वार्ता जल्द ही किसी निष्कर्ष पर नहीं पहुंचती है, तो 1 जून से सीधे 50% टैरिफ लगाए जाएंगे। इस घोषणा का असर अमेरिका सहित यूरोप के बाजारों पर गहराई से पड़ा।
शुक्रवार को अमेरिका के शेयर बाजारों में दिन की शुरुआत ही भारी गिरावट के साथ हुई। शुरुआती कारोबार में S&P 500 इंडेक्स 0.9% गिरा, डॉव जोन्स इंडस्ट्रियल एवरेज 366 अंक यानी 0.9% नीचे चला गया और नैस्डैक कंपोजिट 1.2% की गिरावट में कारोबार कर रहा था। विश्लेषकों का मानना है कि ट्रम्प के टैरिफ बयान के कारण निवेशकों में भारी बेचैनी और अनिश्चितता की भावना पैदा हुई है।
ट्रम्प ने अपने पोस्ट में लिखा, “यूरोपीय संघ के साथ बातचीत किसी नतीजे पर नहीं पहुंच रही है, और अब समय आ गया है कि हम कड़े कदम उठाएं। 1 जून से 50% टैरिफ सीधे लागू होंगे।” यह बयान ऐसे समय में आया है जब अमेरिका और यूरोपीय संघ के बीच व्यापार संबंध पहले ही तनावपूर्ण हैं।
ट्रम्प की घोषणा के असर से यूरोपीय शेयर बाजारों में भी तेज गिरावट देखी गई। फ्रांस का CAC 40 इंडेक्स 2.7% तक गिर गया, जबकि जर्मनी और यूके के प्रमुख सूचकांकों में भी कमजोरी रही। अमेरिकी फ्यूचर मार्केट्स जो शुरू में मामूली बदलाव का संकेत दे रहे थे, अचानक नकारात्मक हो गए।
विशेष रूप से ऐप्पल के शेयरों पर ट्रम्प के हमले का खासा असर पड़ा। ट्रम्प ने कहा कि “जो iPhone अमेरिका में मैन्युफैक्चर नहीं किए जाते, उन पर 25% टैरिफ लगेगा।” इसके बाद ऐप्पल का स्टॉक 2.2% गिर गया और वह S&P 500 में सबसे ज्यादा नुकसान झेलने वाले शेयरों में शामिल हो गया। ट्रम्प पहले भी कई कंपनियों को उनके व्यापार निर्णयों पर सार्वजनिक रूप से निशाना बना चुके हैं।
ट्रम्प ने अतीत में वॉलमार्ट को भी यह कहते हुए लताड़ा था कि उसे चीन के साथ बढ़े हुए टैरिफ “सहन” करने चाहिए, जब कंपनी ने कहा था कि उसे कीमतें बढ़ानी पड़ सकती हैं। यह ट्रम्प की नीति का हिस्सा रहा है जिसमें वे सीधे कंपनियों को अपनी व्यापारिक रणनीतियों पर प्रतिक्रिया देने के लिए बाध्य करते हैं।
अब निवेशक इस बात पर नजर गड़ाए हुए हैं कि इस धमकी का असर भारतीय और एशियाई बाजारों पर कितना पड़ेगा। चूंकि यूरोपीय संघ अमेरिका का सबसे बड़ा व्यापारिक भागीदार है, यह टैरिफ युद्ध वैश्विक आर्थिक स्थिरता को गंभीर रूप से प्रभावित कर सकता है।
बाजार विश्लेषकों का मानना है कि यदि ट्रम्प की धमकी अमल में आती है, तो इससे व्यापारिक अस्थिरता बढ़ेगी और निवेशकों का भरोसा हिल सकता है, खासकर ऐसे समय में जब वैश्विक अर्थव्यवस्था पहले से ही सुस्ती की आशंका झेल रही है।
संभावित असर: निवेशक अल्पकालिक राहत के लिए सरकारी नीतियों और फेडरल रिजर्व की संभावित प्रतिक्रियाओं पर नजर रखेंगे।