सिका इंटरप्लांट सिस्टम्स लिमिटेड (SIKA): डिफेंस डील के बाद शेयरों में जबरदस्त उछाल
भारत की एयरोस्पेस और डिफेंस क्षेत्र की अग्रणी कंपनी, सिका इंटरप्लांट सिस्टम्स लिमिटेड (SIKA), ने हाल ही में अपने शेयरों में जबरदस्त उछाल देखा है। कंपनी के शेयरों ने 4 जून 2025 को बीएसई पर 20% की छलांग लगाई, जिससे यह ₹1,125 के नए 52-सप्ताह के उच्चतम स्तर पर पहुंच गया। जनवरी 2025 में ₹399.96 के 52-सप्ताह के निचले स्तर से यह उल्लेखनीय वृद्धि दर्शाती है कि निवेशकों का कंपनी में विश्वास बढ़ा है।
शेयरों में तेजी के पीछे का कारण
इस तेजी का मुख्य कारण कंपनी का हाल ही में किया गया लाइसेंस समझौता है। SIKA ने फ्रांस की गुडरिच एक्चुएशन सिस्टम्स SAS और यूके की गुडरिच एक्चुएशन सिस्टम्स लिमिटेड के साथ एक लाइसेंस समझौता किया है, जो दोनों ही कोलिन्स एयरोस्पेस का हिस्सा हैं। इस समझौते के तहत, SIKA को भारत और पड़ोसी देशों में रजिस्टर्ड विमानों के लिए घटकों की सेवा करने का अधिकार प्राप्त हुआ है। यह सहयोग कंपनी की MRO (Maintenance, Repair, and Overhaul) क्षमताओं के विस्तार की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है, जिससे क्षेत्रीय विमानन और एयरोस्पेस ग्राहकों को बेहतर सेवा मिल सकेगी।
वित्तीय प्रदर्शन
SIKA ने वित्त वर्ष 2025 में ₹148 करोड़ का राजस्व दर्ज किया, जो पिछले वर्ष के ₹106 करोड़ से 39.62% अधिक है। वहीं, कंपनी का शुद्ध लाभ ₹25 करोड़ रहा, जो पिछले वर्ष के ₹19 करोड़ से 31.57% की वृद्धि दर्शाता है। यह वित्तीय प्रदर्शन कंपनी की मजबूत व्यावसायिक रणनीतियों और बाजार में उसकी बढ़ती पकड़ को दर्शाता है।
शेयरहोल्डिंग पैटर्न
कंपनी के शेयरहोल्डिंग पैटर्न की बात करें तो प्रमोटर्स के पास 71.72% की हिस्सेदारी है, जबकि पब्लिक शेयरहोल्डर्स के पास 28.28% हिस्सेदारी है। यह संरचना कंपनी के प्रबंधन में स्थिरता और निवेशकों के विश्वास को दर्शाती है।
निष्कर्ष
सिका इंटरप्लांट सिस्टम्स लिमिटेड ने हाल ही में किए गए लाइसेंस समझौते और मजबूत वित्तीय प्रदर्शन के चलते अपने शेयरों में उल्लेखनीय वृद्धि देखी है। कंपनी की MRO क्षमताओं का विस्तार और एयरोस्पेस क्षेत्र में बढ़ती मांग, भविष्य में इसके विकास की संभावनाओं को और मजबूत करती है। निवेशकों के लिए यह एक सकारात्मक संकेत है कि कंपनी सही दिशा में अग्रसर है।